PM Modi और Trinidad की Prime Minister ने Port of Spain में पौधा लगाया, ‘Ek Ped Maa Ke Naam’ Campaign को दिया बढ़ावा — Bilateral Ties में मजबूती और Environment के लिए साझा संकल्प

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की त्रिनिदाद और टोबैगो यात्रा के दौरान एक खास पल देखने को मिला। उन्होंने त्रिनिदाद और टोबैगो की प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर के साथ राजधानी पोर्ट ऑफ स्पेन में एक पौधा लगाया। यह पहल भारत में चल रहे भावनात्मक और पर्यावरणीय अभियान एक पेड़ माँ के नाम’ के तहत की गई।

इस मौके पर पीएम मोदी ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पहले Twitter) पर एक पोस्ट में प्रधानमंत्री बिसेसर का आभार जताया। उन्होंने लिखा:

“’एक पेड़ माँ के नाम’ आंदोलन में भाग लेने के लिए प्रधानमंत्री कमला प्रसाद-बिसेसर का धन्यवाद। भारत और त्रिनिदाद एवं टोबैगो दोनों ही climate change (जलवायु परिवर्तन) के खतरे को समझते हैं। हम मिलकर इस धरती को हरा-भरा और बेहतर बनाने के लिए काम करेंगे।”

मुलाकात में हुई कई अहम मुद्दों पर बातचीत

पौधारोपण से पहले प्रधानमंत्री मोदी ने पोर्ट ऑफ स्पेन के ऐतिहासिक रेड हाउस में प्रधानमंत्री कमला प्रसाद बिसेसर से द्विपक्षीय बैठक की। इस दौरान उन्होंने उन्हें हाल ही में हुए चुनाव में जीत दर्ज करने और दूसरी बार प्रधानमंत्री बनने पर शुभकामनाएं दीं।

बैठक में दोनों नेताओं ने कई महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की, जिनमें शामिल थे:

🔹 कृषि (Agriculture)
🔹 हेल्थकेयर और फार्मा सेक्टर (Health & Pharmaceuticals)
🔹 डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन और UPI
🔹 स्किल डेवलपमेंट (Capacity Building)
🔹 संस्कृति और खेल (Culture & Sports)
🔹 जनता से जनता का जुड़ाव (People-to-People connect)

प्रधानमंत्री मोदी ने आगे बताया कि यह बातचीत बेहद सकारात्मक रही। उन्होंने X पर साझा किया कि दोनों देश इस बात पर सहमत हुए कि:

“भारत और त्रिनिदाद-टोबैगो की आर्थिक साझेदारी को और मजबूत करना जरूरी है। साथ ही आपदा प्रबंधन, जलवायु परिवर्तन और रक्षा जैसे क्षेत्रों में भी सहयोग बढ़ाने की ज़रूरत है।”

क्या है एक पेड़ माँ के नामअभियान?

यह एक ऐसा अभियान है जो पर्यावरण संरक्षण के साथ-साथ माँ के प्रति प्रेम और श्रद्धा को भी दर्शाता है। इस पहल के तहत लोग अपनी मां के सम्मान में एक पौधा लगाते हैं और उसका पालन-पोषण करते हैं। इस अभियान ने अब अंतरराष्ट्रीय पहचान भी हासिल कर ली है।

प्रधानमंत्री मोदी की यह यात्रा केवल राजनीतिक नहीं, बल्कि भावनात्मक और पर्यावरणीय संदेश भी लेकर आई है। त्रिनिदाद और टोबैगो जैसे देशों के साथ इस तरह के जुड़ाव से भारत की सॉफ्ट डिप्लोमेसी और भी मजबूत हो रही है। ‘एक पेड़ माँ के नाम’ जैसे अभियानों के ज़रिए भारत एक हरित भविष्य और भावनात्मक जुड़ाव दोनों की ओर कदम बढ़ा रहा है।

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